Thursday, April 18, 2024
HomeNEWSPUNJABमेक्सिको में मां-बाप नहीं कर सकेंगे अपने बच्चों से मारपीट, बनेगा नया...

मेक्सिको में मां-बाप नहीं कर सकेंगे अपने बच्चों से मारपीट, बनेगा नया कानून

फोटो सौ. (न्यूज18 इंग्लिश)

फोटो सौ. (न्यूज18 इंग्लिश)

मेक्सिको (Mexico) की संसद ने बच्चों की पिटाई पर रोक लगाने वाले कानून को सर्वसम्मति से मंजूरी दे दी है. इस कानून को अब मंजूरी के लिए राष्ट्रपति (President) के पास भेजा गया है.


  • News18Hindi

  • Last Updated:
    December 11, 2020, 8:24 PM IST

मेक्सिको सिटी. भारत समेत कई देशों में माता-पिता या शिक्षक अक्सर अपने बच्चों को सुधारने के लिए पिटाई का सहारा लेते हैं. लेकिन मेक्सिको में अगर किसी माता-पिता ने गलती से भी ऐसा किया तो उनको सजा भुगतनी पड़ सकती है. मेक्सिको (Mexico) की संसद ने बच्चों की पिटाई पर रोक लगाने वाले कानून को सर्वसम्मति से मंजूरी दे दी है. इस कानून को अब मंजूरी के लिए राष्ट्रपति (President) के पास भेजा गया है. रिपोर्ट के अनुसार, मेक्सिको की संसद के निचले सदन ने माता-पिता, देखभाल करने वालों, शिक्षकों या अभिभावकों द्वारा बच्चों को दी जाने वाली सभी प्रकार की शारीरिक सजा पर रोक लगाने संबंधी एक कानून को सर्वसम्मति से मंजूरी दी है. कांग्रेस ने गुरुवार को कहा कि ऐसा अनुमान है कि एक से 14 साल के बीच के 63 प्रतिशत बच्चों के शारीरिक दंड झेला है.

कांग्रेस के अनुसार ढकेलना,नोचना, काटना, बाल अथवा कान खींचना या नाबालिगों को किसी भी असुविधाजनक स्थिति में लाने संबंधी व्यवहार को गैरकानूनी घोषित किया जाएगा. कानून को अब मंजूरी के लिए राष्ट्रपति के पास भेज दिया गया है. इस कानून में बच्चों को पीटने के आरोपियों को कड़ी सजा का प्रावधान भी किया गया है. बताया जा रहा है कि यह कानून यूएन चिल्ड्रेन फंड की 2017 की रिपोर्ट के आधार पर बनाया गया है. इसमें कहा गया था कि दुनियाभर में दो से चार साल के 30 करोड़ बच्चे अपने केयरटेकर के द्वारा मनोवैज्ञानिक या शारीरिक या दोनों प्रकार के हिंसा का सामना कर रहे हैं. यूनिसेफ के चाइल्ड प्रोटेक्शन के चीफ कॉर्नेलियस विलियम्स ने दावा किया है कि बच्चों के खिलाफ हिंसा की कोई सीमा नहीं है.

ये भी पढ़ें: ऑस्ट्रेलिया में Corona वैक्सीन के ट्रायल पर रोक, दिखने लगा था HIV इंफेक्शन

यूएन ने कई ऐसे रिपोर्ट जारी किए हैं जो बताते हैं कि दुनिया भर के बच्चों के साथ या तो अभिभावक या कभी-कभी स्कूल या डेकेयर में देखभाल करने वालों द्वारा दुर्व्यवहार किया जाता है. इसमें लड़कियों और बच्चियों के खिलाफ यौन हिंसा के बारे में भी बताया गया है.

Source link

RELATED ARTICLES

Most Popular

Recent Comments